दोस्त यकीन है

ऐ दोस्त यकीन है मुझे तुम पर
कि तूफान अगर आए कभी जीवन में
और घिर जाऊँ जब मैं अंधेरे से
तब तुम बचा लोगे मुझे
डूबने से उस गम के भवंर में
बचा लोगे मुझे तुम उस अंधेरे जीवन से

दोस्त यकीन है मुझे तुम पर
कि जब कभी मैं हार कर
घिर जाऊँ मैं निराशा के साये से
तब तुम बनकर आओगे
मेरे लिए आशा की किरण
और दिखाओगे मुझे
मंजिल पाने का रास्ता

दोस्त यकीन है मुझे तुम पर
की जीवन के सफर में कहीं
जब रह जाऊँ मैं तन्हा
और खुशियां हों मुझसे दूर
तब तुम ही बनकर इंद्रधनुषी रँग
बरसा दोगे खुशियां

दोस्त यकीन है मुझे तुम पर
कि तुम कभी ना साथ छोड़ोगे मेरा
तुम अगर साथ ना रहे कभी मेरे
तब भी तुम्हारी यादें सदा साथ रहेंगी मेरे

लेकिन दोस्त
यकीन मेरा भी करना
की तुम मेरे जीवन का हिस्सा हो
आज भी और आज के बाद भी
हमेशा
बस यकीन करना! 

Comments

Popular posts from this blog

कभी कभी

द्वितीय ज्योतिर्लिंग.. मल्लिकार्जुन ज्योतिर्लिंग

तृतीय ज्योतिर्लिंग महाकाल या ‘महाकालेश्वर’